॥सावण री बड़ी तीज सहेलियाँ ॥जसुदास वैष्णव पल्ली ॥उसी अन्दाज़ में फिर एक बार ॥

॥सावण री बड़ी तीज सहेलियाँ ॥जसुदास वैष्णव पल्ली ॥उसी अन्दाज़ में फिर एक बार ॥
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